नाखून की जड़ में सफ़ेद चांद जैसा भाग सेहत के बारे में क्या बताता है?

हमारे हाथ का नाखून (Fingernails) जहाँ से शुरू होता है, यानि एकदम नाख़ून की जड़ पर एक छोटा सा सफ़ेद आधा चाँद दिखता है। यह सफ़ेद भाग हाथ के अंगूठे में ज्यादा साफ़ दिखाई देता है। नाखून का ये निचला सफ़ेद हिस्सा इंग्लिश में Lunula (लुनुला) कहा जाता है।

ये छोटा सा चाँद देखकर Doctor या वैद्य आपकी हेल्थ के बारे में बता सकते हैं। तो फिर आप भी जानिए कि नाखून में सफ़ेद भाग क्या बताता है:-

1) जिसके हाथ में नाखून का ये निचला हिस्सा जितना साफ़, सफ़ेद और बड़ा होता है उसकी सेहत उतनी अच्छी होगी। ऐसा आदमी मजबूत और एक्टिव होगा।उसके शरीर में रक्त संचार (Blood circulation) भी सही से काम करता होगा।

2) कमजोर या बीमार आदमी के नाख़ून में ये छोटा चाँद छोटा और धुंधला सा दिखाई होगा। ऐसे नाख़ून (Fingernails) वाले आदमी के शरीर में रोगों से लड़ने की शक्ति कमजोर होगी।

इसके अलावा उसे थकान लगने, पेट की दिक्कतें, खाना ठीक से न पचने की तकलीफ होगी। ये भी पता चलता है कि ऐसे व्यक्ति का खून साफ़ नहीं है। इसे रक्त-विकार (blood diseases) या रक्त में अशुद्धि की समस्या कहते हैं।

लुनुला – White Part Of Nail

3) जब कोई आदमी बीमार होता है तो नाखून में यह सफ़ेद भाग धीरे-धीरे गायब सा हो जाता है। लेकिन तबियत ठीक होने पर ये फिर से नाखून में दिखाई देने लगता है।

4) अगर नाख़ून का ये सफ़ेद आधा चाँद सिर्फ अंगूठे के नाखून में ही दिखे तो इसका मतलब है कि या तो आप बीमार होने वाले हैं या फिर आपको कोई पुरानी (Chronic) बीमारी है।

5) अगर छोटे बच्चे के नाखूनों में यह सफ़ेद भाग न दिखे तो परेशान न हों, यह बड़े होने के बाद ही दिखना शुरू होता है।

6) एनीमिया या खून की कमी के मरीजों के नाखून में भी यह सफ़ेद भाग दिखाई नहीं देता। अगर यह भाग पीला या नीला दिखे तो मधुमेह की आशंका हो सकती है।

7) आयुर्वेद के अनुसार Nakhun का ये भाग शरीर के अग्नि तत्व के बारे में जानकारी देता है। अगर नाखून का ये आधा चाँद छोटा हो या न के बराबर हो तो इसका मतलब कि व्यक्ति का पाचन तन्त्र कमजोर है।

8) पाचन तन्त्र की समस्या कमजोर उपापचय (Metabolism) की निशानी है। आयुर्वेद के अनुसार Slow Metabolism कईयों हेल्थ प्रॉब्लम को पैदा करता है, इसलिए पाचन तन्त्र को ठीक करने का इलाज तुरंत करना चाहिए।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *