यदि Google थोड़ी देर (लगभग आधे घंटे या 15 मिनट) के लिए बंद हो जाता है, तो यह विश्व अर्थव्यवस्था को कैसे प्रभावित करेगा?

क्‍या होगा, अगर गूगल 15 मिनट के लिए हो जाए डाउन…

अगस्त 2013 में गूगल की सभी सेवाएं 2-3 मिनट के लिए बंद हो गई थीं. पूरा इंटरनेट ट्रैफिक लुढ़क कर 40% से नीचे चला गया था. इस ब्लैकआउट की कीमत कंपनी को 330,000 पाउंड पड़ी थी. गूगल के साथ ऐसा एक बार और मई 2009 में भी हुआ था. चंद मिनट के लिए गूगल का साथ छूटने पर लोग हलकान हो गए थे.

वैसे यह लगभग नामुमकिन है, लेकिन फिर भी लोगों की क्या प्रतिक्रिया होगी?

पहले कुछ मिनट तक लोग अपना इंटरनेट कनेक्शन चेक करेंगे. कुछ तो अपने सर्विस प्रोवाइडर से बात करेंगे. ऐसा भी हो सकता है कि लोग हार्डवेयर प्रॅाब्लम समझकर उसे ठीक कराने पहुंच जाए. इतना सब करने के लिए तो 15 मिनट का समय काफी है!

जब तक लोगों को यह एहसास न हो जाए कि यह सच है, वो गूगल के होमपेज को रिलोड करने की कोशिश करते रहेंगे. दुनिया भर के सभी लोग डाउन गूगल सर्वर पेज के स्क्रीनशॉट लेना शुरू कर देंगे.

आपके फेसबुक न्यूजफीड में बाद में “OMG! विश्वास नहीं कर सकता”, “मैंने कुछ आश्चर्यजनक देखा” जैसे नोटिफिकेशन की बाढ़ सी आ जाएगी.
लोग वैकल्पिक सर्च इंजन सर्च करना चाहेंगे. पर कैसे? ज्यादातर लोग तो यह जानते भी नहीं कि‍ दूसरे सर्च इंजन भी उपलब्ध होते हैं. बिंग और याहू के ट्रैफिक में जबरदस्त उछाल आएगा.
एंड्राॅयड यूजर सड़क पर भटकने लगेंगे और आईफोन यूजर्स गलियों में खो जाएंगे क्योंकि गूगल मैप भी 15 मिनट तक काम नहीं करेगा.
दुनिया भर के तकनीकी समझ रखने वाले लोग गूगल के इस 15 मिनट के भयानक आपदा के कारण की खोज में जुट जाएंगे! गूगल प्रेस को अपना बयान जारी कर कारण समझाएगा.
कई लोग हैकर्स के एक ग्रुप को जिम्मेदार मानेंगे,अटकलें लगेंगी. लोग हैकर्स की राय जानना चाहेंगे.
मीडिया तो इसके पीछे क्रेजी हो जाएगा. वे विशेषज्ञों को फोन कर स्थिति का विश्लेषण करने की कोशिश करेंगे.

पहेलियों की बातें बंद और कमाई पर ध्यान लगाते हुए समझें कि 510 मिलियन US डॉलर[2]सिर्फ़ बाज़ार पूंजीकरण (Market Capitalization) से कमाता हैं राजाओं का बस एक राजा: गूगल! तो शायद अब आपके लिए समझ़ना आसान हो गया होगा कि इसमे किसका घाटा होगा?

समझने की बात यह है कि भलेही गूगल मुझे,आपको (हम नहीं क्योंकि दुनिया में कुछ और भी सर्चिंग इंजन का प्रयोग करते हैं आखिर सब स्वतंत्र है अपनी पसंद को समझते हुए) 251 उत्पादों एवं सर्विसेस प्रदान करता है[4] । क्या इसे लत लगाना कहेंगे, बिल्कुल क्यों? क्योंकि इंटरनेट ब्राउजिंग वह माध्यम है जहाँ आप अगर पीछे रह गए तो आगे रहने वाला बाज़ी मार ले जाएगा और आप गूगल के (मैं) में पीछे रह जाएंगे जिसे आसान और ट्रेंडिंग भाषा में आउटडेटेड कहते हैं निश्चय ही भलेही ही परिस्थिति जो रही हो पर आप कैसे उस शब्द को सुनना चाहेंगे जो दबीं आवाज़ में फुसफुसाहट करता है और लिजिए दुनिया के लिए आप भी संत- परमात्मा बन गए और कह दिया Ok.Google!

प्रश्न का दूसरा भाग पूछता है की किन-किन लोगों को आर्थिक नुकसान होगा? हालांकि यह रहस्य बाज़ार पूंजीकरण ने बता ही दिया है पर बिल्कुल यहाँ गूगल के उस उत्पाद के बारे में आवश्यक तौर पर बताना चाहूंगी जिससे गूगल (मैं) बनता है।

बिना किसी सस्पेंस को बनाते हुए और पर्दा उठाते हुए नाम को यूं ही नहीं कहते हुए धमाकेदार तालियों से स्वागत करें Google Adsense का! जो भलेही आपको लाखों-करोड़ों देता है एडवरटाइजिंग और एक क्लिक का[5] पर सच्चाई तो यह है कि Vickrey Auction System[6] से आपकी जेबें भरते हुए गूगल दुनियाभर का सबसे आवश्यक और बेशकीमती सर्चिंग इंजन बन पाया/पा रहा है कैसे?

(सभी फ़ोटो गूगल बाबा को समझने के लिए उन्ही से उधर ली गयी है)

जब आपकी वेबसाइट या फिर ब्लॉग पर अनेकों व्यूअर होते है जो बिल्कुल ट्रैफिक बढ़ाते हैं निश्चित तौर पर और यह बढ़ता हुआ ट्रैफिक किसी भी सोर्स सर्चिंग इंजन के लिए अति-लाभदायक सिद्ध होता है।

अब बात करते हैं पैसे की क्योंकि इसके बिना लोग बैकअप रखने की बेचारगी बताते हैं! तो समझने की बात यह है कि

2015 के डेटा के मुताबिक $ 15 बिलियन की कमाई का 23% गूगल की स्वयं की कमाई है[8] और बाकी का उन विज्ञापनकर्ताओं का जिनके एडवरटाइजमेंट आपको गूगल पर देखने को मिलते हैं और रहस्यमय तथ्य यह है कि अपने से ज्यादा लाभ देकर जहाँ कंपनी का एक तरफ एडवाइजर्स की तरफ से विश्वास बढ़ा रहा है वहीं व्यूअर व्यूज से अपने सर्चिग इंजन को लोगों में विश्वास बढ़ाता हैं जिसे वाणिज्य की भाषा में U.S.P कहते हैं!

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