कोरोना में सामने आ रही नई बला येलो फंगस क्या है? जानिए
येलो फंगस (पीला कवक) ,हाँ, ये वाकई एक बला ही है ।
येलौ फंगस का पहला केस उत्तरप्रदेश के ग़ज़िआबाद में रिपोर्ट किआ गया है ।
डॉक्टरों के मुताबिक जहां एक ओर वाइट फंगस हमारे फेंफड़े (lungs)और ब्लैक फंगस हमारे मस्तिष्क(brain)को प्रभावित करता है वही येलो फंगस इन दोनों को प्रभावित करता है ।
आज से पहले इस बीमारी को कभी भी किसी इंसान में नही देखा गया ,हाँ जानवरों में ज़रूर इसे पाया गया था ।इसलिए ये काफी जटिल,गंभीर और खतरनाक है ।
कोविद 19 के मरीज इससे सबसे ज्यादा प्रभावित होंगे पर अन्य लोग भी इससे अछूते नही है ।
प्रारम्भिक लक्षण :-
1.भूख न लगना या कम भूख लगना
2.सुस्ती /आलस
3.आंखों का धंस जाना
4.कुपोषण
5.घाव का न भरना या मवाद आते रहना ।
कारण:- 1 .साफ सफाई का ध्यान न रखना (सबसे प्रमुख कारण )
2.घर के आस पास किसी भी तरह की गन्दगी ,कूरा करकट या पानी का इक्कठा होना ।
3.पुराना खाने का सामान जो काफी लंबे समय से रखा हुआ है ,आसानी से फंगस की वृद्धि करवाता है ।
4. घर में नमी का स्तर (ज्यादा नमी फंगस की बहुत तेज़ी से वृद्धि करती है इसलिए नमी का सही स्तर होना ज़रूरी है ,लगभग 30–40% आद्रता ही होनी चाहिए )
उपचार :-
अगर इसे सही समय पर पता लगा लिया जाए तो इसका इलाज संभव है ।
अम्फोटेरिसिन -बी नाम की एक एन्टी फंगल दवा इसके लिए सबसे ज्यादा उपयोगी है ।